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अमृतकाल के निर्माण में युवाओं की भूमिका अहम प्रो. टंकेश्वर कुमार हकेवि में जी20 एवं अमृतकाल की यात्रा विषय पर कार्यक्रम आयोजित

विश्वविद्यालय के शिक्षक शिक्षा विभाग स्थित सेमिनार कक्ष में आयोजित इस कार्यक्रम की शुरूआत विश्वविद्यालय के कुलगीत के साथ हुई।

हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय (हकेवि), महेंद्रगढ़ में मंगलवार को जी20 एवं अमृतकाल की यात्रा विषय पर केंद्रित कार्यक्रम का
आयोजन किया गया। हकेवि व इंस्टीट्यूट फॉर पब्लिक पॉलिसी रिसर्च एंड सस्टेनेबल डवलपमेंट (आईपीपीआरएसडी) के साझा
प्रयासों से आयोजित इस कार्यक्रम में विश्वविद्यालय कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार व समकुलपति प्रो. सुषमा यादव सहित डॉ. स्वामी
वागीश स्वरूप ब्रह्मचारी, महेंद्रगढ़ के एसडीएम हर्षित कुमार, श्री वेंकटेश्वरा कॉलेज, दिल्ली विश्वविद्यालय के सहायक आचार्य डॉ.
अभिषेक मल्होत्रा व भौतिकी एवं खगोल भौतिकी विभाग की विभागाध्यक्ष प्रो. सुनीता श्रीवास्तव विशेषज्ञ वक्ता के रूप में उपस्थित
रहे। विश्वविद्यालय कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार ने भारतीय संस्कृति व पुरातन ज्ञान के महत्त्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि भारत
सदैव समूचे विश्व का नेतृत्व करता रहा है और इस बार भी जी20 के माध्यम से भारत वसुधैव कुटुम्बकम की अवधारणा का पोषण
कर रहा है।
विश्वविद्यालय के शिक्षक शिक्षा विभाग स्थित सेमिनार कक्ष में आयोजित इस कार्यक्रम की शुरूआत विश्वविद्यालय के कुलगीत के साथ
हुई। इसके पश्चात विश्वविद्यालय में जी20 यूनिवर्सिटी कनेक्ट के नोडल ऑफिसर प्रो. गौरव सिंह ने अतिथियों का स्वागत व कार्यक्रम
की रूपरेखा प्रस्तुत की। कार्यक्रम की शुरूआत में आईपीपीआरएसडी के सचिव संदीप आजाद ने संस्था के उद्देश्यों का उल्लेख करते हुए
अमृतकाल में युवाओं की भूमिका पर विस्तार से अपना पक्ष रखा। उन्होंने कहा कि अवश्य ही जी20 सम्मेलन का आयोजन भारत के
लिए अपनी संस्कृति व विकास यात्रा के पुनर्स्मरण व भविष्य की कार्ययोजना के निर्धारण हेतु महत्त्वपूर्ण आयोजन है। कार्यक्रम में
उपस्थित विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार ने कहा कि भारत जी20 सम्मेलन को विश्व से प्राप्त करने नहीं बल्कि उसे देने
के उद्देश्य से देख रहा है। इस सम्मेलन के माध्यम से अवश्य ही वसुधैव कुटुम्बकम की अवधारणा को जन-जन तक पहुँचाने में मदद
मिलेगी। साथ ही विश्वविद्यालय स्तर पर इस तरह के आयोजनों से अमृतकाल की यात्रा में विश्वविद्यालयों की भूमिका सुनिश्चित
होगी। कुलपति ने भारतीय ज्ञान के महत्त्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि हम इस विषय में समूचे विश्व में अग्रणी हैं बस आवश्यकता
है उपलब्ध ज्ञान को प्रमाण के साथ प्रस्तुत करने की और इस कार्य में सभी सहभागियों को मिलकर योगदान देना होगा। इससे पूर्व में
समकुलपति प्रो. सुषमा यादव ने अमृतकाल की यात्रा पर अपने विचार प्रतिभागियों के समक्ष रखते हुए कहा कि हम सभी
सौभाग्यशाली हैं जो कोविड काल से सुरक्षित बचकर अमृतकाल को देखने व उसके लिए देशभर में जारी योजनागत बदलावों को
जानने-समझने व निर्धारित करने में योगदान दे पा रहे हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री द्वारा प्रस्तुत पाँच प्रण इसी दिशा में बढ़ाया गया
कदम है और अमृतकाल से अर्थ शासन, नीति, शिक्षा, मानवीय संबंध, विश्व के साथ संबंध की वह यात्रा है जो कि उत्कृष्टता प्राप्त हो।
उन्होंने कहा कि सबका साथ सबका विकास सबका विश्वास और सबका प्रयास के नियम का अनुसरण कर हम भविष्य की ओर बढ़ेंगे
तो अवश्य ही विश्व का नेतृत्व करने की क्षमता विकसित कर पाएंगे। युवा ही देश को संभालेगे, सहेजेंगे और आगे ले जाएंगे।
आयोजन में उपस्थित डॉ. स्वामी वागीश स्वरूप ब्रह्मचारी ने वसुधैव कुटुम्बकम पर अपने विचार व्यक्त करते हुए पुरातन संस्कृति और
उसमें उपलब्ध गूढ़ ज्ञान पर विस्तार से अपनी बात रखाी। उन्होंने बताया कि किस तरह से भारत आरंभ से ही श्रेष्ठता लिए हुए है। इस
अवसर पर उन्होंने अध्यात्म की शक्ति पर प्रकाश डालते हुए कहा कि इसके बिना मानव पशु समान है। उन्होंने अपने संबोधन में
स्वामी विवेकानंद, भास्कराचार्य व तुलसीदास के माध्यम से भारतीय ज्ञान परम्परा के महत्त्व से प्रतिभागियों को अवगत कराया।
आयोजन में विशेषज्ञ वक्ता प्रो. सुनीता श्रीवास्तव ने कहा कि अवश्य ही यह भारत के लिए उपलब्धि है कि वह जी20 सम्मेलन का
नेतृत्व कर रहा है। उन्होंने कोरोना काल का उल्लेख करते हुए भारत की सतत विकास आधारित व्यवस्था, पारिवारिक मूल्यों, पुरातन
ज्ञान की ओर भी ध्यान आकर्षित किया। इस अवसर पर उन्होंने मस्तिष्क के स्थायीत्व और डिजिटल वर्ल्ड के उत्तम उपयोग पर जोर
देने के साथ-साथ महिला सशक्तिकरण के महत्त्व पर भी ध्यान आकर्षित किया। महेंद्रगढ़ के एसडीएम हर्षित कुमार ने जी20 सम्मेलन
और भारतीय युवा शक्ति का उल्लेख करते हुए अपनी बात प्रस्तुत की। उन्होंने बताया कि किस तरह से भारत विश्व का नेतृत्व करने के
लिए तैयार है। आयोजन के अन्य वक्ता डॉ. अभिषेक मल्होत्रा ने जी20 की भूमिका और महत्त्व पर प्रकाश डालते हुए उसके आर्थिक
पक्षों और आयोजन के दौरान होने वाले विभिन्न आयोजनों का उल्लेख करते हुए उनकी उपयोगिता से अवगत कराया। उन्होंने बताया
कि किस तरह से इस आयोजन की विभिन्न स्तर पर तैयारियां जारी हैं और उसके अंतर्गत चर्चा में आने वाले विषयों की ओर डॉ.
अभिषेक ने ध्यान आकर्षित कराया। कार्यक्रम के अंत में हकेवि के कुलसचिव प्रो. सुनील कुमार ने धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यक्रम में
प्रो. सारिका शर्मा, प्रो. नंद किशोर, प्रो. प्रमोद कुमार, प्रो. दिनेश चहल सहित विभिन्न विभागों के विभागाध्यक्ष, शिक्षक, विद्यार्थी व
शोधार्थी उपस्थित रहे।

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