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रबिंदो काॅलेज के एनसीवेब सेन्टर ने किया खेल उत्सव का आयोजन ।

इस कार्यक्रम में डॉ. प्रीतम, डॉ. जावेद, डॉ. बन्नी सिंह, डॉ. रोशन लाल, डॉ. देवव्रती, डॉ. आयुषी, डॉ. कृष्ण और डॉ. शिवमंगल उपस्थित रहे।

नई दिल्ली।दिल्ली विश्वविद्यालय से संबद्ध श्री अरबिंदो काॅलेज के एनसीवेब सेन्टर ने शनिवार को  अन्तर महाविद्यालयी खेल उत्सव का आयोजन किया । इस आयोजन में  विभिन्न सेंटर से 18  महाविद्यालयों के एनसीवेब सेन्टर की छात्राओं ने सेंटर द्वारा आयोजित खेल प्रतियोगिताओं जैसे -- शतरंज, टग ऑफ वार, वाॅलीबाॅल,  खो-खो, बैडमिंटन, शाॅट पुट, योगा आदि खेलों में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। 

शनिवार को हुए खेल उत्सव कार्यक्रम का शुभारंभ काॅलेज के प्राचार्य प्रोफेसर विपिन कुमार अग्रवाल, एनसीवेब की निदेशक प्रोफेसर गीता भट्ट , विशिष्ट अतिथि प्रोफेसर हंसराज सुमन , एनसीवेब सेन्टर की प्रभारी प्रोफेसर अंजलि भटनागर, समन्वयक डॉ. रेणुका अनूप ने दीप प्रज्वलित करके किया। छात्राओं ने गणेश व माँ सरस्वती की वंदना भी की । इसके अलावा देशभक्ति के गीतों से सभागार गूंज उठा । छात्राओं को संबोधित करते हुए काॅलेज के प्राचार्य प्रोफेसर विपिन कुमार अग्रवाल ने अपने संबोधन में प्रतिभागियों का उत्साहवर्धन करते हुए कहा कि छात्राएं हमारे राष्ट्र की प्रमुख शक्ति है । किसी भी समाज और राष्ट्र का चहुंमुखी विकास तभी संभव है जब लड़कियों को शिक्षा के साथ-साथ खेल के क्षेत्र में भी समान अवसर दिया जाए। उन्होंने आगे कहा कि आज सम्पूर्ण देश अपनी साकारात्मक ऊर्जा से आगे बढ़ रहा है जिसमें हमारी छात्राएं अपना योगदान देकर भारत को विश्व गुरु बना सकती हैं।

 एनसीवेब की निदेशक प्रोफेसर गीता भट्ट ने अपने वक्तव्य में कहा कि विकास की प्रक्रिया में एनसीवेब अपनी स्थापना से लेकर अब तक नए-नए कीर्तमान बना रहा है । दिल्ली विश्वविद्यालय में संभवतः यह पहला अवसर है जिसमें अरबिंदो काॅलेज का एनसीवेब सेन्टर खेल उत्सव का इतना भव्य एवं सफल आयोजन किया है। उन्होंने छात्राओं से यह अपील की कि अपने अन्तर्मन को पहचान कर सही दिशा में मेहनत करने की जरूरत है। आज माननीय प्रधानमंत्री जी जिस 'एस्पिरेशनल इंडिया' की बात करते हैं, वह हमारी आज की छात्राएं ही हैं।

 विशिष्ट अतिथि प्रोफेसर  हंसराज सुमन ने अरबिंदो कॉलेज के अपने अनुभवों को साझा करते हुए सभी छात्राओं को प्रोत्साहित किया और कहा कि इस तरह की खेल प्रतियोगिताओं से मन-मस्तिष्क का विकास होता है । खेल को खेल की भावना से खेला जाना चाहिए । उन्होंने बताया कि उनके कार्यकाल में अरबिंदो कॉलेज सेंटर एकेडेमिक्स के साथ -साथ खेलों , रचनात्मक लेखन , पेंटिंग , निबंध प्रतियोगिताओं , कबड्डी , रेसलिंग आदि प्रतियोगिताओं में अपना महत्वपूर्ण स्थान  रखता था । उन्होंने बताया कि यहाँ की कई छात्राएं राष्ट्रीय स्तर पर खेलों में रही । प्रोफेसर सुमन ने ऐंनसीवेब की निदेशक से अपील व मांग की है कि इन सेंटरों पर आने वाली छात्राओं की आर्थिक स्थिति बहुत कमजोर होती है इसके लिए विश्वविद्यालय से उनके लिए छात्रवृत्ति , फीस माफ व उनकी स्थिति को सुधारने के लिए कॉलेजों में 6 महीने के प्रोफेशनल कोर्स व सर्टिफिकेट कोर्स चलाए जाए ताकि ये छात्राएं अपने पैरों पर खड़ी हो सके । इसके अलावा इनके लिए मल्टीनेशनल कंपनियों को बुलाकर समय-समय पर 'जाॅब फेयर' भी लगाया जाए जिससे इन्हें रोजगार मिले ।

कार्यक्रम के अंत में शिक्षक प्रभारी प्रो. अंजलि भटनागर ने नारी शक्ति पर प्रकाश डालते हुए सभागार में उपस्थित अतिथि, शिक्षकों, कर्मचारियों और छात्राओं को धन्यवाद ज्ञापित किया। इस कार्यक्रम में डॉ. प्रीतम, डॉ. जावेद, डॉ. बन्नी सिंह, डॉ. रोशन लाल, डॉ. देवव्रती, डॉ. आयुषी, डॉ. कृष्ण और डॉ. शिवमंगल उपस्थित रहे।

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