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हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय सेमिनार इकोनॉमी @75 का हुआ समापन

50 से अधिक शोधार्थियों ने प्रस्तुत किए शोधपत्र

 

हरियाणा: हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय (हकेवि), महेंद्रगढ़ के अर्थशास्त्र विभाग द्वारा इकोनॉमी @ 75 विषय पर एक दिवसीय राष्ट्रीय सेमिनार का आयोजन किया गया। भारतीय सामाजिक विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएसएसआर), नई दिल्ली द्वारा प्रायोजित इस सेमिनार में मुख्य वक्ता के रूप में बी. आर. अम्बेडकर स्कूल ऑफ़ इकोनोमिक्स (बीएएसई), बैंगलोर के कुलपति प्रोफेसर एन. आर. भानुमूर्ति उपस्थित रहे जबकि विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की। उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए प्रो. टंकेश्वर कुमार ने कहा कि नए भारत के निर्माण में आत्मनिर्भर भारत एवं मेक इन इंडिया जैसे कदम  भारतीय अर्थव्यवस्था के अमृतकाल के पथ के निर्धारण करेंगे जिसमें भारतीय युवा शोधकर्ताओं एवं विद्वानों  की भूमिका अत्यंत महत्त्वपूर्ण होगी।

आजादी के 75 वर्ष पूर्ण होने के उपलक्ष्य में आयोजित इस राष्ट्रीय सेमिनार का शुभारम्भ हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय अर्थशास्त्र विभाग के विभागाध्यक्ष प्रोफेसर रंजन अनेजा के स्वागत भाषण के साथ हुआ। इसके पश्चात विभाग के सहायक आचार्य व सेमिनार के संयोजक डॉ. अजित कुमार साहू ने विषयवस्तु पर चर्चा करने के साथ साथ कार्यक्रम के रुपरेखा को भी प्रस्तुत की। कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के रूप में भारत के जाने माने अर्थशास्त्री प्रो. एन.आर. भानुमूर्ति ने अपने व्यक्तव्य में भारतीय अर्थव्यवस्था के पिछले 75 वर्षों की यात्रा, इसके उतार-चढाव एवं विभिन्न चुनौतियों पर प्रकाश डाला। इस अवसर पर उन्होंने राष्ट्रीय सेमिनार की स्मारिका का भी विमोचन किया। कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि के रूप में प्रो. सुनीता श्रीवास्तव सेमिनार के उद्घाटन सत्र में सम्बोधित करते हुए कहा कि न केवल भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए अपितु सम्पूर्ण विश्व के लिए सतत विकास का मुद्दा अत्यंत महत्वपूर्ण है। उद्घाटन सत्र में मंच का संचालन वाणिज्य विभाग की सहायक आचार्य डॉ. सुमन ने किया जबकि अर्थशास्त्र विभाग की सहायक आचार्य डॉ. रश्मि तंवर ने धन्यवाद ज्ञापन प्रस्तुत किया।  

राष्ट्रीय सेमिनार के अधिवेशन सत्र में भारतीय प्रबंधन संस्थान, रोहतक के डॉ. महामाया मोहंती तथा इंदिरा गाँधी राष्ट्रीय जनजातीय विश्वविद्यालय, अमरकंटक के डॉ. विनोद सेन ने विशेषज्ञ वक्ता के रूप में अपना व्याख्यान प्रस्तुत किया। अधिवेशन सत्र में मंच का संचालन अर्थशास्त्र विभाग के सह-आचार्य डॉ. अमनदीप वर्मा ने किया। वहीं तकनीकी सत्रों के दौरान देश के विभिन्न संस्थानों के 50 से अधिक शोधार्थियों ने सेमिनार के 5 उपविषयों के 25 विभिन्न आयामों अपने अपने शोधपत्र प्रस्तुत किए। इस सेमिनार का समापन सत्र की अध्यक्षता हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रोफेसर सुनील कुमार ने की। उन्होंने सेमिनार में प्रतिभागिता करने वाले शोधार्थियो को बधाई दी और कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था ने पिछले 75 वर्षों में निश्चित ही अभूतपूर्व प्रदर्शन किया है। सेमिनार के आयोजन में  आयोजन समिति के सदस्य डॉ. राजेंद्र प्रसाद मीणा एवं डॉ. ऋतु गोयल ने महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा की। कार्यक्रम में विश्वविद्यालय के आजादी का अमृत महोत्सव अभियान की नोडल ऑफिसर प्रो. सारिका शर्मा सहित विभिन्न पीठों के अधिष्ठाता, विभागाध्यक्ष, शिक्षक, विद्यार्थी व शोधार्थी उपस्थित रहे

 

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